DIGITELNEWS पर पढ़ें हिंदी समाचार देश और दुनिया से,जाने व्यापार,बॉलीवुड समाचार ,खेल,टेक खबरेंऔर राजनीति के हर अपडेट

 

'नहीं पता था कर्नल का परिवार साथ है', मणिपुर आतंकी हमले की जिम्मेदारी लेने वाले सगंठन ने किया दावा

नई दिल्ली मणिपुर में शनिवार को सेना के काफिले पर हुए हमले की जिम्मेदारी पीएलए मणिपुर और मणिपुर नगा पीपुल्स फ्रंट (MNPF) ने ली है। दोनों उग्रवादी संगठनों ने रिलीज जारी करते हुए दावा किया कि उनके हमले में असम राइफल्स के कर्नल और उनके परिवार समेत 6 लोगों की मौत हुई है। मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार रिलीज में संगठनों ने दावा किया है कि हमले से पहले उनको इस बात की जानकारी नहीं थी कि कर्नल की पत्नी और बेटा भी दस्ते में उनके साथ है। सुरक्षा बलों के लिए खतरे की घंटी भारतीय सेना के अधिकारियों का कहना है भारी हथियारों से लैस विद्रोही समूह की तरफ से इस हमले को सुनियोजित और सटीक तरीके से अंजाम दिया गया। म्यांमार में एके-47 असॉल्ट राइफल, मशीनगन, टैंक रोधी खदानों और हथगोले जैसे अवैध चीनी निर्मित हथियार आ रहे हैं। इनकी मदद से सीमा पर विद्रोही संगठन के लिए रास्ता आसान हो रहा है। ये घटना भारतीय सुरक्षा बलों के लिए खतरे की घंटी है। म्यांमार सीमा से भारत में घुसपैठ की होगी सेना के एक सीनियर ऑफिसर ने कहा कि ऐसी घटना जहां परिवार के सदस्यों को भी निशाना बनाया गया है, उत्तर-पूर्व में लंबे समय के बाद हुई है। उन्होंने कहा कि सभी विद्रोहियों ने संभावित रूप से म्यांमार सीमा से भारत में घुसपैठ की होगी। सैन्य अधिकारी के अनुसार हमले से उत्तर-पूर्व में सामान्य रूप से विद्रोही संगठनों से निपटने की रणनीति पर फिर से विचार करना होगा। घात लगा कर बैठे थे उग्रवादी उग्रवादी संगठनों ने कहा कि भारतीय सुरक्षा बलों को इस तरह के अशांत क्षेत्र में अपने परिवार को साथ लेकर नहीं आना चाहिए। मणिपुर के चुराचन्दपुर जिले के सियालसी गांव के समीप शनिवार को उग्रवादियों ने घात लगाकर सेना के काफिले पर हमला कर दिया था। घटना करीब 11.30 बजे उस वक्त हुई, जब असम राइफल्स के कमांडिंग ऑफिसर कर्नल विप्लव त्रिपाठी बिहांग को-पोस्ट से वापस लौट रहे थे। हमले में कर्नल विप्लव के साथ उनकी पत्नी अनुजा और पांच साल के बेटे अबीर की भी मौत हो गई। चूड़ाचांदपुर जिले के सिनघाट सब-डिवीजन में हुए हमले में चार जवान भी शहीद हो गए थे। रोज की तरह निरीक्षण पर निकले थेघटना उस वक्त हुई जब कर्नल विप्लव त्रिपाठी रोजाना की तरह चेक पोस्ट का निरीक्षण करने निकले थे। यह उनके रूटीन का हिस्सा था, लेकिन शनिवार को उनका परिवार भी साथ था। पत्नी अनुजा और बेटा विप्लव भी उनके साथ गाड़ी में मौजूद थे जब उग्रवादियों ने पहले विस्फोट और फिर दनादन फायरिंग कर पूरे परिवार को मौत की नींद सुला दिया। काफिले की पहली गाड़ी को ब्लास्ट से उड़ायासबसे पहले कमांडिंग ऑफिसर कर्नल विप्लव त्रिपाठी की गाड़ियों के काफिले में आगे चल रही गाड़ी में ब्लास्ट हुआ। बीच वाली गाड़ी में कर्नल त्रिपाठी खुद अपने पत्नी और बेटे के साथ थे। ब्लास्ट के बाद दोनों बची हुई गाड़ियों पर उग्रवादियों ने फायरिंग शुरू कर दी। कर्नल विप्लव और उनकी पत्नी की मौके पर ही मौत हो गई। बेटा गंभीर रूप से घायल था जिसने इलाज के बाद दम तोड़ दिया। (इनपुट-टाइम्स न्यूज नेटवर्क)
Source navbharattimes

एक टिप्पणी भेजें

0 टिप्पणियाँ